(ग़ज़ल )
ऐ चाँद अब सो भी जा बहुत रात हो गयी
मुझे तो इश्क हुआ है तू बता क्या बात हो गयी
बोल तेरा दिल भी कही खो गया है न
चैन जाके बादलों में खो गया है न
मेरी भी आज उससे पहली मुलाकात हो गयी
चल अब सो भी जा बहुत रात हो गयी
खुशमिजाज़ दिल ऐसा न था जैसा आज है
पास मेरे अब खुशियाँ ही खुशियाँ हैं
ऐ चाँद अब सो भी जा बहुत रात हो गयी
मुझे तो इश्क हुआ है तू बता क्या बात हो गयी
बोल तेरा दिल भी कही खो गया है न
चैन जाके बादलों में खो गया है न
मेरी भी आज उससे पहली मुलाकात हो गयी
चल अब सो भी जा बहुत रात हो गयी
खुशमिजाज़ दिल ऐसा न था जैसा आज है
पास मेरे अब खुशियाँ ही खुशियाँ हैं
इश्क क्या हुआ खुशियों की बरसात हो गयी
चल अब सो भी जा बहुत रात हो गयी
चल अब सो भी जा बहुत रात हो गयी
"चल अब सो भी जा बहुत रात हो गयी"
ReplyDeleteअरी चाँद को मत सुलाओ ,बेचारे इश्क के मारे लोगो का यही तो एक सहारा है जो रात भर साथ देता है
सुन्दर रचना
bahut sundar gazal hai Aditi.
ReplyDeleteab apni kavitayen bhi post karna shuru karo..
अगर भाव की बात करे तो रचना दिल छूने वाली है.
ReplyDeleteप्रयास अच्छा है. आप जारी रहें.
गज़ल खूबसूरत है । अब नई पोस्ट डालिये अदिति जी !!!
ReplyDeleteलिखने पर विराम क्यों? नई पोस्ट डालिये अदिति जी. :)
ReplyDeleteaccha prayas Aditi.
ReplyDelete:)
aur han aapko bahut bahut badhai...
ReplyDeletekyon?
aakhir aapne Creative Manch ki vijeta jo huii.
:)
saral,sunder.
ReplyDeleteati sundar rachana
ReplyDeleteऐ चाँद अब सो भी जा बहुत रात हो गयी
ReplyDeleteमुझे तो इश्क हुआ है तू बता क्या बात हो गयी
वाह क्या बात है .....बहुत खूब .....!!
पर अदिति जी ये ग़ज़ल की श्रेणी में नहीं आएगी ...
ग़ज़ल के कुछ अपने नियम कायदे होते हैं ...
किसी गुरु की शरण में थोड़ी सी मेहनत से सीख सकती हैं ....!!
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ReplyDeleteइश्क क्या हुआ खुशियों की बरसात हो गयी
चल अब सो भी जा बहुत रात हो गयी...
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मेरा भी यही अनुभव है । प्यार में वो शक्ति है वो दुनिया का हर गम भुला देती है और हर तरफ खुशियाँ ही खुशियाँ बिखेर देती है।
आपकी इस रचना में , चाँद से बहुत ही ख़ूबसूरती से , एक नए अंदाज़ में बात की गयी है । बहुत अच्छा लगा ये अंदाज़।
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bhav sundar hain ...likhte likhte kalam nikhar jaayegi...
ReplyDeleteबेहतरीन गजल
ReplyDeleteसच इश्क मे नींद नही आती
खूबसूरत गज़ल ...
ReplyDeleteIs pyaari si gazal ke liye apko Badhaai.
ReplyDeleteइश्क क्या हुआ खुशियों की बरसात हो गयी
ReplyDeleteचल अब सो भी जा बहुत रात हो गयी
इश्क चीज ही कुछ ऐसी है...शुक्रिया
चलते -चलते पर आपका स्वागत है
चाँद को नींद कहाँ से आएगी जी?उसे तो प्यार हो गया.. :)
ReplyDeleteचाँद को आपसे जलन हो रही है इसलिए उसे नींद कैसे आएगी
ReplyDeleteसुन्दर अभिव्यक्ति
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ReplyDeleteअदिति जी,
आपकी नयी रचना का इंतज़ार है।
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अदिति जी, यूँ तो प्रेमरस पर अनेकों रचनाएं पढ़ी हैं, पर आपकी रचना में जो भोलापन है, वह सचमुच लाजवाब है।
ReplyDelete---------
ईश्वर ने दुनिया कैसे बनाई?
उन्होंने मुझे तंत्र-मंत्र के द्वारा हज़ार बार मारा।
.....खूबसूरत गज़ल ...
ReplyDeleteमेरी भी आज उससे पहली मुलाकात हो गयी
ReplyDeleteचल अब सो भी जा बहुत रात हो गयी
xxxxxxxxxxxxxxxx
अदिति जी ...
बहुत ही भावपूर्ण गजल है ...मैं इसे की बार पढ़ चूका हूँ ...आपकी अगली रचना का मुझे बेसब्री से इन्तजार है ....शुभकामनायें
ऐ चाँद अब सो भी जा बहुत रात हो गयी
ReplyDeleteमुझे तो इश्क हुआ है तू बता क्या बात हो गयी
मुहब्बत से लबरेज़.क्या बात है,अदिति जी
nai rachana lagaiye aditi ji
ReplyDeleteऐ चाँद अब सो भी जा बहुत रात हो गयी
ReplyDeleteमुझे तो इश्क हुआ है तू बता क्या बात हो गयी.....भा गयीं ये पंक्तियाँ.....वाह....लाज़वाब.....सच....!!
अदीति जी,
ReplyDeleteआज पहली बार आपके ब्लॉग पर आना हुआ....बढ़िया लगा आपका ब्लॉग....ग़ज़ल बहुत ही प्यारी है.....चाँद से संवाद पसंद आया....आपको फॉलो कर रहा हूँ ताकि साथ बना रहे......शुभकामनाये.....
कभी फुर्सत में हमारे ब्लॉग पर भी आयिए- (अरे हाँ भई, सन्डे को को भी)
http://jazbaattheemotions.blogspot.com/
http://mirzagalibatribute.blogspot.com/
http://khaleelzibran.blogspot.com/
http://qalamkasipahi.blogspot.com/
एक गुज़ारिश है ...... अगर आपको कोई ब्लॉग पसंद आया हो तो कृपया उसे फॉलो करके उत्साह बढ़ाये|
waaw itne sare comment khoobsurat lekhakak ko aaye ummeed nahi karte.. itne comment to khoobsurat lekhan ko hi aa sakte hai...
ReplyDeletebahut achhi gazal
बहुत सुंदर
ReplyDeleteआपकी ग़ज़ल पूरी हुई....और मेरी रात हो गयी.....उस रात में कुछ ख़्वाबों से मुलाक़ात हो गयी....और ख़्वाबों में कुछ शायरों से से भी बात हो गयी....आपको धन्यवाद दे दूं बहुत-बहुत धन्यवाद....आपके कारण ही इत्ती साड़ी बात हो गयी....!!
ReplyDeleteजब तक cmindia की नई क्विज़ प्रस्तुत हो, इस पुरानी क्विज़ को
ReplyDeleteहल करें। http://rythmsoprano.blogspot.com/2011/01/blog-post_3129.html
ऐ चाँद अब सो भी जा बहुत रात हो गयी
ReplyDeleteमुझे तो इश्क हुआ है तू बता क्या बात हो गयी
खुशमिजाज़ दिल ऐसा न था जैसा आज है
पास मेरे अब खुशियाँ ही खुशियाँ हैं
बहुत ही खूबसूरत पंक्तियाँ हैं, मगर सभी इश्क करने वालों को खुशियाँ ही मिलें ऐसा नहीं हो पाता न.
अरे कभी कभी कुछ लिख भी दिया कीजिये न....:)
ReplyDeleteकेवल पहेली ही बुझियेगा क्या???
एक साल हो गया...
इंतज़ार है...
are shekhar ji kya likhun ?
ReplyDeleteyahan itne saare log din raat likh rahe hain bas unko hi padh leti hun
kabhi kuchh man men aata bhi hai ki kuch likhun to sochti hun ki sab hasenge isliye ruk jaati hun.
mujhe aap logon ki tarah sundar sa likhna nahi aata.
बहुत ही प्यारी रचना है, बधाई।
ReplyDelete---------
ब्लॉगवाणी: एक नई शुरूआत।
बहुत खूब अदिति, आप अपनी बात कहने में कामयाब रहीं ! शुभकामनायें !!
ReplyDeleteऐ चाँद अब सो भी जा बहुत रात हो गयी
ReplyDeleteमुझे तो इश्क हुआ है तू बता क्या बात हो गयी
बहुत खूब अदितिजी
प्रयास अच्छा है जारी रहें.
बहुत सारी शुभ कामनाएं आपको !!
aapke blog se bhi deedaar ho gya,
ReplyDeletegazal ko padhte hi lekhan se pyaar ho gya.
:)) bahut hi sundar..........
ऐ चाँद अब सो भी जा बहुत रात हो गयी
ReplyDeleteमुझे तो इश्क हुआ है तू बता क्या बात हो गयी
pehli baar apke blog par aaya hu bahut accha likhti hai. umeed karta ho aage bhi aisa hi accha likha hua parhne ko milta rahega. apko follow kar raha hu.
vaise harkirat ji k sath main bhi sehmat hu.
अदिति जी अब नई पोस्ट डालिये और मेरी नई पोस्ट पर आपका स्वागत है
ReplyDelete"गौ ह्त्या के चंद कारण और हमारे जीवन में भूमिका!".
आपके सुझाव और संदेश जरुर दे!
आप लिखे तो बहुत बढ़िया है लेकिन शायद आप ब्लॉग पर बहुत कम लिखती है।
ReplyDeleteबहुत ही बढ़िया लगा हमे आपके बलॉग पर आकर। आप भी हमारे बलॉग पर तशरीफ लाईयेगा।
हमारा ब्लॉग पता है।
http://rsnagie.blogspot.com
बहुत सुंदर लिखा आपने.....
ReplyDeleteमेरे ब्लॉग पर आपका स्वागत है.....
प्रिय अदिति चौहान जी
ReplyDeleteसस्नेह अभिवादन !
अच्छी रचना ! अच्छे भाव !
ऐ चांद अब सो भी जा बहुत रात हो गयी
मुझे तो इश्क हुआ है तू बता क्या बात हो गयी
अब चांद को भी जगाइए और आप भी ख़ुमारी से बाहर आइए :)
बात क्या है , बहुत समय हो गया … आपने पोस्ट क्यों नहीं बदली ?
आपका कोई और ब्लॉग हो तो लिंक मेल करें …
होली की अग्रिम शुभकामनाओं सहित
चंद रोज़ पहले आ'कर गए
विश्व महिला दिवस की हार्दिक बधाई !
शुभकामनाएं !!
मंगलकामनाएं !!!
♥मां पत्नी बेटी बहन;देवियां हैं,चरणों पर शीश धरो!♥
- राजेन्द्र स्वर्णकार
अति सुन्दर कविता
ReplyDeleteशायद आपको नहीं पता की चाँद सूरज से मिलने को बेताब है
आपको, आपके परिवार को होली की अग्रिम शुभकामनाएं!!
अदिती जी आपको होली की बहोत ढेर सारी शुभकामनाएँ
ReplyDeleteमेरे ख्याल से आपको एक नया पोस्ट लगाना ही चाहिए ....कितने लोगों ने निवेदन किया है.
:)
सिर्फ़ दो, दो के बाद बन्द।
ReplyDeleteआजकल आप कहाँ हो आगे नहीं लिख रहे हो?
ReplyDeleteरचना अच्छी लिखी है।
bahut khoob....raat ki baat ka...chaand ke deedar ka aur khusiyo ke raaj ka..
ReplyDeletebadhai :)
बहुत अपनेपन से लिखी पंक्तियाँ हैं.
ReplyDeleteसहज और प्यारी.